निमोनिया के लक्षण एवं उपचार । Symptoms of pneumonia in hindi

symptoms of pneumonia.

Pneumonia in hindi. निमोनिया एक संक्रमित बीमारी है। यह सांस जुड़ी गंभीर बीमारी है। सिर्फ खांसी जुकाम मतलब निमोनिया नहीं। खांसी सर्दी अगर समय से अधिक अगर हमारे शरीर में रुकी रही, तो बलगम की खांसी तथा बुखार आना शुरू होता हैं। जो सांस की नली और फेफड़ों को संक्रमित करता हैं । जिससे निमोनिया होने के चांस बढ़ जाते हैं। इनके लक्षणों ( symptoms of pneumonia ) ध्यान देकर बचा जा सकता है ।


यह बीमारी न केवल बच्चों में बल्कि किसी भी उम्र में हो सकता है । लेकिन एक शोध के अनुसार एक मिलियन लोग प्रति वर्ष इस बीमारी से ग्रसित होते है । वही हजारों बच्चे इस बीमारी के कारण मौत के शिकार हो जाते है । निमोनिया एक ऐसी बीमारी है जो एक बार होने के बाद आसानी से पीछा नहीं छोड़ती है । जैसे मौसम में बदलाव होता निमोनिया के रोगी को सर्दी खाँसी शुरू हो जाती है । विशेष रूप से बच्चों पर काफी प्रभाव माना गया है । इसलिए आवश्यक है कि थोड़ी सर्दी जुकाम होने पर तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें । एवं खुद को सुरक्षित रखे ।

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निमोनिया का अर्थ ? meaning of pneumonia in hindi. –


निमोनिया एक प्रकार रोग है जो किसी भी उम्र में हो सकता है । यह बैक्टीरिया के कारण होता है । इसमें रोगी को बहुत ठंड लगती है एवं फेफड़ों में सूजन की प्रॉब्लम होती जिसे सांस लेने में भी परेशानी होती है । जब इनके हल्के लक्षण ( symptoms of pneumonia ) नजर आने पर डॉक्टर से सम्पर्क करें ।

निमोनिया क्या है ? What is pneumonia in hindi. –


निमोनिया ( Pneumonia ) यानी फेफड़ों का संक्रमण । जो बैक्टीरिया के कारण होता है । निमोनिया होने पर इंसान को ठंड लगने लगती है । जिसमें सर्दी, खांसी और बुखार हो जाता है । वह फेफड़ों को संक्रमण कर 10 या 12 दिनों में ठीक हो जाता है। कभी-कभी प्रतिकार शक्ति कम होने पर फेफड़ों में सूजन आ जाती है। और फेफड़ों में पानी भर जाता है ।

निमोनिया बैक्टीरिया वायरस फंगस द्वारा फेफड़ों में होने वाला संक्रामक रोग है। जिसमें कोई संक्रमित व्यक्ति अगर खांसते या छींकते है। तो उनका वायरल बैक्टीरिया सांस द्वारा हमारे शरीर में पहुंचकर हमें संक्रमित कर देता है। जिसमें बलगम वाली खांसी, सीने में दर्द, तेज बुखार और सांस तेजी से चलना आदि लक्षण ( symptoms of pneumonia ) दिखाई देते हैं ।

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बच्चों को यह वायरल बैक्टीरिया से होता है। जिसकी प्रतिकार यानी प्रतिरोधक क्षमता कम होती है । उसे यह बीमारी जल्दी से वायरल हो जाती है। यह बीमारी 5 साल से छोटे बालक ओर 60 साल से अधिक उम्र के लोगों को जल्दी अपनी चपेट में ले लेती है।


निमोनिया के लक्षण | symptoms of pneumonia in adults –


निमोनिया या फ्लू साधारण दोनों के लक्षण एक जैसे होते हैं। फ्लू कुछ दिनों में ठीक हो जाता है । परंतु फ्लू के साथ आपको अगर निमोनिया हो जाए । तो निमोनिया के लक्षण symptoms of pneumonia इस प्रकार है –

● आपको खांसी सर्दी हो जाएगी।
● कमजोरी लगने लगेगी या थकान महसूस होना ।
● बलगम वाली खांसी होना ।
● तेज बुखार के साथ पसीना आना ।
● ठंड लगना, कंपकपी लगना ।
● सांस लेने में दिक्कत होना ।
● सीने में दर्द होना या बेचैनी जैसा होना आदि लक्षण दिखाई देते हैं।
● साथ में आपको उल्टी जैसा यह जी मचलने जैसा भी लगता है ।
● आपके मुंह का स्वाद बिगड़ जाता है।

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छोटे बच्चों में निमोनिया के लक्षण । Symptoms of pneumonia in children.


निमोनिया ( pneumonia ) छोटे बच्चों को भी प्रभावित करता है । इम्मयून सिस्टम कमजोर होने के कारण जल्दी संक्रमणित कर लेता है । कभी कभी कुछ मामलों में 0 से 1 साल तक बच्चों को हो जाने पर लगातार 5 साल तक होने तक परेशान करता देखा गया है । इसलिए आवश्यक है कि शुरुआती लक्षणों ( symptoms of pneumonia ) को पहचान कर शीध्र ही डॉक्टर से सम्पर्क करें । तो चलिए जानते है – Chhote bachcho me nimoniya ke lakshan –


● ठंड लगकर बुखार आना ।
● सांस लेने में परेशानी या श्वास तेजी चलना ।
● छोटे बच्चों को बुखार के साथ पसीना आता है ।
● बार बार खाँसी आना ।
● कंपकपी होना ।
● पसली चलना ।
● कमजोरी एवं भूख न लगना, बेचैन होना आदि लक्षण दिखाई देते हैं।

निमोनिया के कारण । pneumonia causes in hindi. –


निमोनिया होने का एक कारण निश्चित नहीं है। वह कई कारणों से हो जाता है । लेकिन एक निश्चित रूप से हम कह सकते हैं कि, यह बैक्टीरिया के कारण होता है । यह एक संक्रमित बीमारी है । यह फ्लू , इनफ्लुएंजा के कारण होता है। अन्य श्वसन रोग से भी हो सकता है । खांसी सर्दी को समय पर ठीक नहीं किया । कई दिनों अगर खांसी सर्दी बनी रही तो भी निमोनिया होने का कारण बन सकता है।

निमोनिया पीड़ित दूसरे व्यक्ति को भी संक्रमित कर देते हैं । बैक्टीरिया , वायरस , फंगस , कवक आदि कारणों से भी निमोनिया हो जाता है। तो चलिए जानते है निमोनिया के संभावित कारणों के बारे मे –

वायरस – छोटे बच्चों में निमोनिया होने का प्रमुख कारण वायरस है । यह आमतौर पर हल्का होता है लेकिन कभी कभी गम्भीर हो सकता है । जबकि वयस्कों में इन्फ्लुएंजा वायरस के कारण निमोनिया होता है ।

बैक्टीरिया – बैक्टीरिया यानी जीवाणु जो हवा, पानी के माध्यम से फेफड़ों तक पहुंच जाते है । हालांकि बैक्टीरियल निमोनिया का मुख्य कारण स्ट्रेप्टोकोकस न्यूमोनी है। जो फेफड़ों के किसी एक हिस्से प्रभावित करते है । इस स्थिति को लोबार निमोनिया भी कहा जाता है ।

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कवक – यह कमजोर इम्मयून सिस्टम के कारण होता है । या किसी पुरानी हेल्थ प्रॉब्लम या कोई लम्बी बीमारी जैसे HIV के कारण हो सकता है । आमतौर पर उन लोगों के लिए परेशानी खड़ी करता है जो दूषित पानी, मिट्टी या फिर पक्षियों के ज्यादा सम्पर्क में रहते है ।

अन्य कारण – निमोनिया के अन्य कारणों में लगातार किसी बीमारी से पीड़ित होने के कारण कमजोर रोग प्रतिरोधी क्षमता के कारण या लगातार कई दिनों तक अस्पताल में रुकने के कारण निमोनिया के शिकार हो सकते है ।

Treatment of pneumonia.

निमोनिया के प्रकार । Type of pneumonia in hindi –


निमोनिया एक संक्रमित बीमारी है । यह फेफड़ों को संक्रमण कर तेज बुखार लाता है । सांस लेने में परेशानी होती है । थकान होती है । निमोनिया के पांच प्रकार है । निमोनिया पांच प्रकार से लोगों को संक्रमित करता हैं –

बैटेरियल निमोनिया ( Bacterial pneumonia )
बैक्टीरिया मतलब जीवाणु । अगर किसी का शरीर कमजोर है , उसकी प्रतिकार क्षमता कम हैं तो कमजोर शरीर पर यह बैक्टीरिया जल्दी से अपनी जकड़ में लेता है । यह किसी भी उम्र के लोगों को हो सकता है।

वायरल निमोनिया ( viral pneumonia )
यह भी न्यूमोनिया था बैक्टीरियल प्रकार है लेकिन अगर आपको क्यों हुआ है तो यह वायरल होने के कारण वायरल निमोनिया हो जाता है यह किसी भी उम्र के लोगों को हो सकता है।

मैकोप्लासमा निमोनिया ( mycoplasma pneumonia)
निमोनिया किस प्रकार मे मायकोप्लाजमा निमोने किटाणू द्वारा निमोनिया होता है इसके लक्षण भी अलग होते है।

एस्पिरेशन निमोनिया ( Aspiration pneumonia)
एस्पिरेशन निमोनिया भोजन, तरल पदार्थ या धूल से होता है । अगर कोई बाहर का भोजन या कोई तरल पदार्थ खाते हैं । तो वहां इस्तेमाल किए पानी के बैक्टीरिया से भी निमोनिया को हम दावत दे सकते हैं।

फंगल निमोनिया ( fungal pneumonia)
यह विभिन्न जगहों, स्थानों या फंगस के कारण होता है।

निमोनिया के घरेलू उपचार | Home remedies for pneumonia in hindi. –

निमोनिया के घरेलू उपचार पद्धति में घर के खाने में इस्तेमाल किए गए कई सारी चीजों से हम निमोनिया को ठीक कर सकते हैं। Nimoniya ka gharelu ilaj –

लहसून से निमोनिया का घरेलू उपाय ।  lahsun se Nimoniya ka gharelu ilaaj.

निमोनिया के लिए बहुत ही फायदेमंद होता है लहसुन । रोजाना के खाने में इसका इस्तेमाल करते हैं। एक कप दूध में 4 / 5 लहसुन की कलियां छिलकर कर डालें और उसे अच्छे से उबालें । इसे तब तक उबालें जब तक एक कप दूध , एक चौथाई ना हो जाए । जब दूध एक चौथाई हो जाए । तो उसे ठंडा कर दिन में 2 बार पी लीजिए आपको जल्दी राहत मिल जाएगी । पढ़े – लहसुन के फायदे और नुकसान


सरसों का तेल से निमोनिया का इलाज ।

एक कटोरी में सरसों का तेल लेकर उसे गुनगुना होने तक गर्म करें । गुनगुना होने पर आधी चम्मच हल्दी का पाउडर डालकर अच्छे से मिलाइए । जो बीमार व्यक्ति है , उसकी छाती पर इस गुनगुने तेल से मसाज करें । इससे छाती की जकड़न दूर होती है । और सांस लेने की क्षमता बढ़ती है । रोगी को राहत मिल जाती है।


हल्दी से निमोनिया का रामबाण इलाज । Haldi se Nimoniya ka gharelu ilaaj.

हल्दी के दूध को दिन में दो बार गर्म करके पिए । आधा चम्मच हल्दी में एक चौथाई चम्मच काली मिर्च पाउडर को गुनगुने पानी में मिलाकर दिन में दो बार इसका सेवन करें । खांसी सर्दी से राहत मिल जाएगी ।


तुलसी से निमोनिया का इलाज । Tulsi se Nimoniya ka gharelu ilaaj.

तुलसी के पत्तों के रस में एक चौथाई काली मिर्च डालकर हर एक 1 घंटे के बाद इसका सेवन करें । आपको खांसी सर्दी से राहत मिल जाएगी ।

पुदीना का सेवन –
पुदीने की पत्तियों की चाय बनाकर पीने से भी राहत मिलती हैं ।

मेथी से निमोनिया का रामबाण इलाज । Methi se Nimoniya ka gharelu ilaaj.

मेथी भी बहुत उपयोगी है । इनका उपयोग करने के लिए कप भर पानी मे दानेदार मेथी के साथ चम्मच भर अदरक रस, लहसुन की एक कली एवं एक – चौथाई काली मिर्च की पाउडर को डालें और इसे 5 मिनट तक उबालें । फिर ठंडा कीजिए । 1 दिन में 4 बार इसका सेवन करें । आपको खांसी से राहत मिल जाएगी । आप जल्दी ही ठीक हो सकते ।

हरी सब्जियों जूस पीना चाहिए । नमक के पानी के गरारे करने चाहिए । गर्म पानी की भाप लेनी चाहिए । जिससे आपको निमोनिया ( pneumonia ) से राहत में जाएगी । आप जल्दी से ठीक हो जाओ सकते हैं । पढ़े मेथी खाने के फायदे

निमोनिया में खान पान | diet in pneumonia in hindi. –


◆ निमोनिया होने पर आप को संतुलित आहार लेना चाहिए। रोजाना 6 से 8 गिलास पानी पीना चाहिए ।
◆ आपको हरी सब्जियों का सेवन करना चाहिए ।
◆ ताजे फलों का रस पीना चाहिए । साथ ही ताजे फलों को खाना चाहिए ।
◆ मांस, मछली, अंडे का भी सेवन कर सकते हैं।
◆ आपको अपनी प्रतिकार शक्ति बढ़ानी चाहिए जिसके लिए आपको आपका आहार पौष्टिक रखना है ।

निमोनिया के दौरान आपकी जीवनशैली –


● निमोनिया के दौरान आपकी जीवनशैली में बदलाव करने पड़ते हैं ।
● ठंड के मौसम में गर्म कपड़े पहनने चाहिए। जिससे शरीर गर्म रहे ।
● निमोनिया किसी भी मौसम में हो सकता है। इसलिए आपको अपना ध्यान रखना चाहिए ।
● आपको दिया गया एंटीबायोटिक का कोर्स पूरा करना है ।


● साफ सफाई में ध्यान रखना है ।
● सरसों का तेल, तुलसी के पत्तों का सेवन विक्स आदि का इस्तेमाल करना है ।
● आपको हल्का हल्का व्यायाम करना है ।
● संतुलित भोजन आपको खाना है ।
● अपने आप आनंदी रखना है तथा वातावरण में भी प्रसन्नता रखनी है। जिससे आप खुश रह कर जल्दी से ठीक हो सकते हैं ।

निमोनिया के दौरान परहेज | symptoms of pneumonia in hindi.


● निमोनिया हो जाने के दौरान ज्यादा मसालेदार पदार्थ नहीं खाने चाहिए ।
● ज्यादा ठंडे पदार्थ भी नहीं खाने चाहिए ।
● बाहर की तली हुई चीजें, बाहर का फास्ट फूड नहीं खाना चाहिए ।
● अगर किसी को खांसी सर्दी है, तो उससे दूर रहना ही अच्छा है ।


● खांसी आने पर मुंह पर हाथ या रुमाल रखना चाहिए।
● बच्चों को अगर खांसी, सर्दी, बुखार है तो उसे जब तक वह ठीक ना हो जाए , उन्हें बाहर या स्कूल ना भेजें । डॉक्टर के पास ले जाकर दवा ले लेनी चाहिए।

निमोनिया से बचने के कुछ उपाय – treatment of pneumonia in hindi.


निमोनिया से बचने के उपाय सबसे पहले हम बच्चों की बात करेंगे । उन्हे निमोनिया न होने का टिका लगवाए। टीकाकरण के बावजूद उन्हें ऐसे लोगों से दूर रखिए जिन्हें सांस की कोई बीमारी हो या सर्दी जुकाम हो । ठंड के मौसम में गर्म कपड़े पहनाए।


बड़ो को भी यह बातें लागू होती है। छोटे बड़े ज्यादा ठंड में बाहर न निकलें। सर्दी में शरीर को ढंक ले। खांसी सर्दी वाले व्यक्ति से दूर रहे ज्यादा भीड़ भाड़ वाली जगह पर मत जाइए। फ्लू का टिका लगवाए। निमोनिया का टिका लगवाएं। यह किसी भी मौसम में हो सकता है इसलिए संतुलित आहार करे । इसके अलावा pneumococcal vaccine भी लगाकर बचा जा सकता है ।

क्या कोविड 19 और न्यूमोनिया अलग है – what different symptoms of pneumonia and covid 19 –


कोविड-19 यानी करोना का संक्रमण । करोना में भी व्यक्ति के फेफड़ों को सर्वाधिक नुकसान पहुंचता है । और निमोनिया में भी फेफड़ों में संक्रमण होता है । सर्दी खासी यानी करोना ऐसा नहीं है । कोरोना संक्रमित 80 फ़ीसदी लोग बिना इलाज के ठीक हो जाते हैं । जिनकी प्रतिकार क्षमता ज्यादा है । उन्हें कुछ नहीं होता ।

पहले श्रेणी के लोगों में कुछ लक्षण दिखाई नहीं देते । दूसरी श्रेणी में आने वाले लोगों में श्वसन नलिका में संक्रमण होता है । जिससे बुखार, सिरदर्द, आंख संबंधी बीमारी के लक्षण नजर आते हैं । लेकिन यह भी प्रतिकार शक्ति और एंटीबॉडीज दवा लेने पर ठीक हो जाते हैं । तीसरी श्रेणी में आने वाले करोना लोगों में पॉजिटिव रिपोर्ट आता है ।

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जिनमें निमोनिया के लक्षण दिखाई ( symptoms of pneumonia ) देते हैं । उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया जाता है । चौथी श्रेणी में आने वाले लोगों में निमोनिया गंभीर रूप ले लेता है । कोरोना में करोना और निमोनिया इन दोनों के संक्रमण से पीड़ित को सर्दी, खांसी, बुखार तो पहले से ही होता है । लेकिन उनकी श्वसन मार्गी का में सूजन पैदा होती है । यह सूजन श्वसन मार्गी का में परेशानी पैदा कर देती है ।

जिससे धूल या धुए से भी खांसी होने लगती है। सांस लेने में परेशानी हो जाती है । हालत बिगड़ने लगती है। वायु कोश यानि श्वसन मार्ग सुजन के बाद द्रव तथा इन्फ्लेमेटरी सेल्स फेफड़े में आने लगते हैं । तब परिणाम स्वरूप करोना पेशेंट को निमोनिया हो जाता है । जिसमें पीड़ित की ऑक्सीजन क्षमता कम हो जाती है । यह निमोनिया की गंभीर स्थिति है ।

निमोनिया का खतरा सबसे ज्यादा किसे हैं ?

कोविड 19 और निमोनिया अलग अलग है । निमोनिया होने पर अस्पताल में भर्ती किया जाता है । करोना ना में पीड़ित को निमोनिया हो जा, तो वह गंभीर रूप ले लेता है । इसका खतरा खासकर ह्रदय से पीड़ित तथा मधुमेह के रोगियों को और बुजुर्ग में अधिक होता है । जिनके प्रतिकार क्षमता कमजोर हो उन्हें भी अपनी पकड़ में ले लेता है ।

निमोनिया का खतरा बुजुर्गों में, मधुमेह, कैंसर या फेफड़े से प्रभावित कोई भी बीमारी, किडनी, लीवर, धूम्रपान करने वाले लोग, या 1 साल से कम उम्र के बच्चों में अधिक होता है । पर अब हमें निमोनिया से डरने की जरूरत नहीं । हमारे पास निमोनिया के लिए इलाज मौजूद है और हम निमोनिया से ठीक हो सकते हैं।

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